Annual function anchoring script

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बंजर मन को मंदिर बना देती है
कुरूप को सुंदर बना देती है
डंके की चोट पर मैं ये कहता हूं
शिक्षा किसी गिरे हुए को अंबर बना देती है

इस धरती पर शिक्षा वह चमत्कार है जो इंसान को बिना किसी भेदभाव के उपलब्धियां देती है। जो लोग शिक्षा के क्षेत्र में काम कर रहे हैं,उनको बधाई देता हूं। बेशक उन्होंने शिक्षा में अपना व्यवसाय चलाया हुआ है,मगर शिक्षा से श्वास को रोशन करने का काम कर रहे हैं। शुभ कर्मों से कमाया हुआ धन भी सुकून देता है। शिक्षा ऐसा ही शुभ कर्म है। आज अच्छे-अच्छे शिक्षण संस्थान खुल रहे हैं। जो अच्छे स्टाफ के साथ अपने विद्यार्थियों पर खूब मेहनत करते हैं। यही विद्यार्थी इन विद्यालयों का नाम रोशन करते हैं। इन्हें विद्यालयों से देश के वैज्ञानिक, इंजीनियर और बड़े ऑफिसर निकलते हैं।

प्रगति पथ पर अग्रसर ऐसे विद्यालय समय-समय पर स्कूल में प्रतिभा सम्मान समारोह करवाते हैं। जिसमें बच्चों के अभिभावकों को भी आमंत्रित किया जाता है। स्कूल के वार्षिक उत्सव (Annual function) के लिए मैंने एक एंकरिंग स्क्रिप्ट लिखी है। आशा है आपको पसंद आएगी। कोशिश कीजिए आप इस स्क्रिप्ट में अपने स्कूल को लेकर अन्य भी अच्छी बातें जोड़ें। स्कूल की उपलब्धियों का बखान करें। मैंने यह स्क्रिप्ट बनाने का एक प्रयास किया है,आप भी अपनी कुछ मेहनत के साथ इस स्क्रिप्ट को और अच्छा बनाने का प्रयास करें। पूरे अभ्यास के साथ मंच पर जाइए। आपका कार्यक्रम बहुत अच्छा होगा।

शिक्षण संस्थान वार्षिक उत्सव मंच उद्घोषक स्क्रिप्ट

सबसे पहले आपको हार्दिक शुभकामनाएं देता हूं जो आपको एक मंच उद्घोषक के तौर पर एक शानदार जिम्मेदारी मिली। मैं आशा करता हूं आप इस दायित्व को पूरी ऊर्जा और निष्ठा से निभाएंगे। ये मंच आपके के लिए एक अवसर है। जिससे आपको भरपूर आत्मविश्वास के साथ-साथ आत्म संतुष्टि का आभास होगा। एक बात जो मैं हमेशा कहता हूं कि एक कुशल मंच संचालक वही होता है जो कार्यक्रम (Annual function) के प्रारंभिक दौर में कुशलता पूर्वक बोलता है। प्रारंभिक दौर का मतलब जब तक कार्यक्रम विधिवत रूप से आरंभ नहीं हो जाता। लगभग 30, 40 मिनट पूर्व आप मंच पर जाकर बोलना शुरू कर दीजिए। यह स्कूल का वार्षिक उत्सव है तो इसमें शिक्षा ,विज्ञान, खेलों से जुड़ी बातें बोली जा सकती है। प्रारंभ में बच्चों के अभिभावकों के स्वागत में शब्द और नारी शक्ति बेटियों के बारे में आप बोल सकते हैं। यानी कि जब तक अतिथि आगमन नहीं होता आप शिक्षा, सम्मान, खेल,प्रतिभा जैसे बहुत सारे विषयों पर बोल सकते हैं। कुछ एक बातें इस स्क्रिप्ट में लिख रहा हूं।

1.प्रारंभ मंच संचालक की एंट्री
2.अतिथि आगमन
3.दीप प्रज्ज्वलन
4.सरस्वती वंदना
5.अतिथि अभिनंदन स्वागत
6.स्वागत गीत
7.स्वागत संबोधन

1.प्रारंभ मंच संचालक की एंट्री

आओ प्रभु से हम दुआ मांगे
जिंदगी जीने की अदा मांगे
अपनी खातिर तो बहुत मांगा है
आओ आज सबके लिए भला मांगे

सबसे पहले विद्या के इस मंदिर में विद्या की देवी मां सरस्वती के चरणों में प्रणाम करती हूं। ……..विद्यालय के वार्षिक उत्सव (Annual function) में आए हुए बच्चों के अभिभावकों का स्कूल परिवार की ओर से हार्दिक अभिनन्दन करती हूं। आपके इस विद्यालय में समय-समय पर इस तरह के फंक्शन (Annual function) इसलिए ऑर्गेनाइज किए जाते हैं,जिससे पेरेंट्स का और स्कूल का आपसी तालमेल बना रहे। यह जरूरी भी है कि अगर हम बच्चों को उज्जवल भविष्य चाहते हैं तो हमें बच्चों के स्कूल में समय-समय पर मिलते रहना चाहिए। स्कूल का यह वार्षिक उत्सव स्कूल परिवार के सभी सदस्यों के समर्पण और मेहनत का परिणाम है। इस फंक्शन को का खूबसूरत बनाने के लिए‌ सभी ने मिलकर मेहनत की है। यह भी सच है मिलजुल कर ही ऐसे कार्यक्रमों को बेहतरीन बनाया जा सकता है।

अकेले में हम अक्सर अपनी परछाईयों से डर जाते हैं
अगर मिले किसी का साथ तो हम दुनियां जीत जाते हैं

आदरणीय डायरेक्टर सर एवं प्रधानाचार्य का थैंक्स करते हैं,जो आज स्टूडेंट्स को अपनी प्रतिभा निकालने का अवसर दिया।

जीवन और चरित्र का गठन करते हैं
आओ ऐसी शिक्षा के लिए यत्न करते हैं

ऐसी शिक्षा के लिए हमारा प्रयास रहे जिससे हम आजीविका के साथ-साथ इंसान बनें। इस स्कूल ने हमारे क्षेत्र में अनुशासन में अपनी एक अनूठी छाप छोड़ी है। स्टूडेंट को स्टडी के साथ-साथ जीवन मूल्य भी सिखाए जाते हैं। अगर ऐसा होगा तभी हम कह पाएंगे कि हम सही मायनों में शिक्षित हो रहे हैं। आए हुए अभिभावकों एवं अतिथियों से एक बार जरुर कहना चाहूंगी कि इस बार भी हमारे विद्यालय की छात्राओं का परीक्षा परिणाम श्रेष्ठ रहा है।

इसे बेटा बना पा लो ये इतिहास छू लेगी
करो विश्वास बेटी पर ये विश्वास छू लेगी
कभी जीवन में बेटी को नजरअंदाज मत करना
जरा से पंख खोलोगे ये आकाश छू लेगी

शिक्षा के साथ-साथ ओलम्पिक हो, राष्ट्रमंडल खेल हो या अंतर्राष्ट्रीय खेल प्रतियोगिता हो, हर खेल में बेटियों ने अपनी भागीदारी सुनिश्चित की है। आईटी के क्षेत्र में, देश के शीर्ष प्रशासनिक पदों पर, स्वरोजगार के क्षेत्र में नारी शक्ति पुरुष को पछाड़ रही है। जैसे ही आज के हमारे आदरणीय मुख्य अतिथि महोदय पहुंचते हैं हम कार्यक्रम को विधिवत रूप से आरंभ करेंगे। सभी बच्चों से कहना चाहूंगी कि आप अनुशासन का परिचय देंगे। आज के दिन हमारे स्कूल की महत्वपूर्ण (Annual function) परफॉर्मेंस है। हम सभी इस परफॉर्मेंस को सुंदर बनाने के लिए प्रतिबद्ध रहेंगे। आज के कार्यक्रम के लिए एक बार आपकी जोरदार तालियां होनी चाहिए। इस मंच पर बच्चों को हौसला देने के लिए पूरे कार्यक्रम में आपको तालियां बजानी है, इसलिए अभी से प्रैक्टिस कर लीजिए। देखते हैं आप अपनी तालियों की कितनी आवाज कर सकते हैं।

बिखरे हुए सपनों को उड़ान चाहिए
कोटि-कोटि जन का आह्वान चाहिए
आपकी तालियों से महफिल गूंज उठे
आपके जज़्बातों में ऐसा उफ़ान चाहिए

आपके घनघोर तालियों की आवाज से वातावरण गुंजना चाहिए। हमारा फंक्शन भी अति महत्वपूर्ण समय पर रखा गया है। जैसा कि आप सभी जानते हैं अभी नवरात्रि और दुर्गा पूजा का उत्सव चल रहा है। ये 9 दिन हमें पवित्र संकल्प और जीवन के महान लक्ष्य के लिए प्रेरित करते हैं। शिक्षा वह परम उद्देश्य है, जिससे इंसान अपनी दुनियां बदल सकता है।

मनुष्य की पूर्णता को व्यक्त करती है
सृजन के लिए मन में विश्वास भरती है
समाज को श्रेष्ठ बनाती है शिक्षा
शिक्षा से ही चरित्र की नींव पड़ती है

आज इस मंच पर विद्यालय के होनहार छात्र-छात्राएं सम्मानित होंगे। यह बच्चे हमारे लिए प्रेरणा है। और आने वाले समय में यह बड़े लक्ष्य हासिल करेंगे। इस तरह आप शिक्षा ,विज्ञान, सदाचार आदि पर और भी बातें बोल सकते हैं। आप बोलते रहिए और आपके बोलते बोलते ही अतिथि प्रांगण में प्रवेश करते हैं।

2.अतिथि आगमन

बसंत की रूत दिन बहार के आते हैं
खिलती है कलियां मौसम प्यार के आते हैं
देवालय बन जाता है आंगन हमारा
जब अतिथि हमारे घर द्वार पे आते हैं

एक बार जोरदार तालियों से स्वागत करेंगे।आज के हमारे माननीय मुख्य अतिथि महोदय पहुंच चुके हैं। उनके यहां पहुंचने पर स्कूल प्रशासन की ओर से हार्दिक स्वागत करते हैं। आपकी उपस्थिति ने आज इस मंच को शोभा प्रदान की है। एक बार पुनः आपका अभिनंदन करते हैं।

3.दीप प्रज्ज्वलन

हमारे स्कूल के प्रधानाचार्य आदरणीय श्री……..जी से सादर अनुरोध करुंगी कि माननीय मुख्य अतिथि महोदय से दीप प्रज्ज्वलित करवाएं और आज के सभा को ज्योतिर्मय करें।

जैसे रौशनी होती है दीपक से
वैसा सबमें आप जोश भर दो
पावन किया दरबार को आपने
दीप जला आगाज़ कर दो

दीप शक्ति का परिचायक है। दीप हमारे मन को रोशन करके नकारात्मकता को खत्म करता है। इसलिए बताया भी जाता है कि हर रोज घर में दीपक प्रज्ज्वलित करना चाहिए। आदरणीय मुख्य अतिथि महोदय के साथ विशिष्ट अतिथियों से अनुरोध करुंगी कि कृपया मंच पर आए और विद्या और कला की देवी मां शारदा के आगे पुष्प अर्पित करें।

तेरी शरण में प्यार मिलता है
दिव्य ज्ञान का भंडार मिलता है
मन से मिटता है अज्ञान का अंधेरा
तुमसे ही उजालों का संसार मिलता है

सरस्वती मां सबको बुद्धि और ज्ञान का आशीर्वाद दे। आदरणीय अतिथियों से निवेदन करूंगी कृपया अपना स्थान ग्रहण करें।

4.सरस्वती वंदना

बताया जाता है कि श्रीकृष्ण भगवान ने सरस्वती से प्रसन्न होकर कहा की नवरात्रि के साथ में दिन मां शारदा की विशेष आराधना करने वालों को ज्ञान,विद्या और कला मे चरम उत्कर्ष प्राप्त होगी। इसलिए एक स्टूडेंट को सरस्वती की उपासना जरूर करनी चाहिए। दीप प्रज्ज्वलन के बाद सरस्वती वंदना के लिए अभी स्कूल की छात्राओं को मंच पर आमंत्रित करूंगी।

माँ सरस्वती का ध्यान करें
हम मधुर कण्ठ से गान करें
नई चेतना पा करके
सब जग में रोशन नाम करें

मां शारदा की वंदना के लिए स्कूल की छात्राएं मंच पर आएं और वंदना करें।

5.अतिथि अभिनंदन स्वागत

ईश्वर ने भी कीमती रतन
गिनती के ही बनाए हैं
उन रत्नों में सबसे कीमती
आज हमारे बीच में आए हैं

बेशक घर में कोई पारिवारिक फंक्शन हो या किसी संस्थान में कोई फंक्शन हो, अतिथियों की उपस्थिति से ही फंक्शन शोभित होते हैं। आज हमारे विद्यालय के वार्षिक उत्सव को शोभावान करने के लिए पहुंचे माननीय मुख्य अतिथि एवं विशिष्ट अतिथियों का एक बार पुनः वेलकम करते हैं।

अपनत्व का एहसास ही काफी है
प्रेम की कोई परिभाषा नहीं होती
मेहमानों के सच्चे सम्मान में
तालियों के सिवाय कोई भाषा नहीं होती

एक बार हमारे अतिथियों के सम्मान में आपकी करतल ध्वनि होनी चाहिए। अभी आदरणीय प्रधानाचार्य कर से अनुरोध करूंगी की स्कूल की छात्राओं द्वारा आए हुए अतिथियों को तिलक और बैज लगवाकर सम्मानित करें। अतिथि सत्कार भारतीय संस्कृति है। हमें अपनी संस्कृति का हमेशा पालन करना चाहिए। हिमाचल प्रदेश को तो वैसे भी देवभूमि के नाम से जाना जाता है। इस तरह के स्थलों पर सांस्कृतिक विरासत हमेशा जीवित रहती है।

6.स्वागत गीत

अतिथियों के स्वागत सत्कार के चलते स्वागत गीत के लिए स्कूल के छात्र-छात्राओं को मंच पर आमंत्रित करूंगी।

विद्या के पावन मंदिर में
हम जीवन का कल्याण करें
द्वार हमारे आए अतिथि
स्वागत में रसगान करें

अतिथियों के स्वागत में तरन्नुम भरा गीत लेकर मंच पर आ रही है स्कूल की छात्राएं।

7.स्वागत संबोधन

अगर आपसे कोई प्रश्न करें की जीवन की सफलता किसमें है। तो हो सकता है हम किसी विशेष फील्ड का नाम लें। मगर मैंने सुना है कि जीवन की सफलता निरंतरता और परिवर्तन में है। इस विद्यालय की स्थापना को लगभग 12 वर्ष हो चुके हैं। मैंने यह एहसास किया है कि स्कूल ने अपने आपको निरंतर अपडेट किया है। समय के अनुसार जहां जैसी जरूरत रही वैसी सुविधाएं उपलब्ध कराई। बच्चों के सर्वांगीण विकास के लिए समय के साथ परिवर्तन किया गया। जिसकी बदौलत आज स्कूल अपने उत्कर्ष पर है। एक शिक्षण संस्थान की सफलता के पीछे को समर्पित लोगों का हाथ होता है। शिक्षा के क्षेत्र में एक लगनशील इंसान ही सफलता के पायदान चढ़ता है।

पथ में कांटे ना होते तो
जीवन का आभास ना होता
मंजिल मंजिल रह जाती
मानव का इतिहास ना होता

अभी मंच पर एक ऐसी पर्सनालिटी को आमंत्रित करूंगी,जिन्होंने अपनी श्रद्धा और समर्पण से इस शिक्षण संस्थान को सींचा है। हमारे स्कूल से आदरणीय प्रधानाचार्य सर से निवेदन करूंगी कि कृपया मंच पर आए और आए हुए अतिथियों का वेलकम करें।

स्वागत संबोधन
स्वागत संबोधन समाप्त

धन्यवाद सर। आपके अमूल्य शब्द हमारे लिए मार्गदर्शन का काम करेंगे।

Varshik utsav Manch sanchalan script

हिंदी सॉन्ग l.k.g.

अभी इस समय आ चुका है मनमोहक प्रस्तुतियों का। हमारे स्कूल के बच्चों ने ऐसी परफॉर्मेंस तैयार की है जिन्हें देखकर आप दंग रह जाएंगे। एक बार आपकी जोरदार तालियां होनी चाहिए।

बहारों की महफिल सुहानी रहेगी
लबों पर खुशियों की कहानी रहेगी
चमकते रहेंगे खुशियों से ये सितारे
अगर आपकी तालियों की मेहरबानी रहेगी

आपकी जोरदार तालिया के साथ पहली प्रस्तुति के लिए मंच पर आ रहे हैं हमारे स्कूल के लिए लिटिल चैंपियन एलकेजी क्लास के छोटे-छोटे बच्चे हिंदी सॉन्ग पर डांस करेंगे।

U.k.g. ओल्ड हिंदी सॉन्ग

गीत संगीत ईश्वर की अनुपम देन है। जब भी मन उदास हो तो संगीत बहुत बड़ा सहारा बन जाता है। ऐसे में हमारे पुराने हिंदी सॉन्ग हमें जीवन की प्रेरणा देते हैं।

सद्भाव भरा कोई गीत सुनाकर
कानों में रसधार घोल दे
मानवता का भाव उठे
मेरे दिल में ऐसा प्यार घोल दे

ऐसे ही एक पुराने हिंदी सॉन्ग पर डांस लेकर आ रहे हैं हमारे स्कूल के ये नन्हे कलाकार। यूकेजी क्लास के बच्चों को डांस के लिए आमंत्रित करुंगी। आपकी तालियों की आवाज रुकनी नहीं चाहिए।

1st पंजाबी डांस

रोने की वजह भी ना थी
ना हंसने का बहाना था
क्यों हम हो गए इतने बड़े
इससे अच्छा तो बचपन का जमाना था

अगर हम बच्चों के बचपन को देखकर एहसास करें तो हम फिर से बचपन में लौट जाना चाहेंगे। आदरणीय अभिभावकों से कहना चाहूंगी कि आप अपने छोटे-छोटे मासूमों को समय दें।उनके साथ बैठें ,उनसे प्यार करें और उनकी बातें सुनें। इसी संकल्प के साथ नेक्स्ट परफॉर्मेंस के लिए फर्स्ट क्लास के नन्हे मुन्ने कलाकारों को भांगड़ा प्रस्तुति मंच पर आमंत्रित करूंगी।

प्रतिभा सम्मान समारोह

माननीय अतिथियों और उपस्थित अभिभावकों से कहना चाहूंगी कि हमारे विद्यालय के विद्यार्थियों ने इस वर्ष खेलों में उत्कृष्ट प्रदर्शन किया है।(खेल प्रतियोगिताओं के नाम और खंड स्तर जिला स्तर राज्य स्तर के बारे में बताइए) इसके साथ साथ है स्टडी में …. सत्र में हमारे‌ कुछ विद्यार्थी मेरिट और प्रथम श्रेणी में उत्तीर्ण हुए हैं। बेटियों के परिणाम को लेकर एक बार तालियां चाहूंगा क्योंकि विद्यालय‌ के परीक्षा परिणाम में बेटियों की संख्या ज्यादा रहती है।

माननीय अतिथि महोदय से निवेदन है कि वह मंच पर आएं और नई उम्र की इन प्रतिभाओं को सम्मानित करें। आपकी जोरदार तालियों के साथ इन अनूठी प्रतिभाओं को मंच पर आमंत्रित करूंगा। विद्यालय के जिन होनहार विद्यार्थियों ने खेलों में उत्कृष्ट प्रदर्शन किया है,वो मंच पर आएंगे।जैसे मंच पर इनका नाम पुकारा जाए आपकी तालियों की ध्वनि होनी चाहिए। मंच पर आ रहे हैं…….

तजुर्बा शेर को ख़ामोश होना सिखाता है
क्योंकि दहाड़कर कभी शिकार नहीं होते
लकीर को छोड़ अपने अनूठेपन को पहचानो
अनूठे काम कभी नियमों के अनुसार नहीं होते

हमारे विद्यालय के‌ ये वो प्रतिभाशाली बच्चे हैं, जिन्होंने अपने समय को यूटिलाइज किया। समय को प्रबंधित करके शिक्षा के साथ-साथ खेलों में भी अहम स्थान प्राप्त किया। समय प्रबंधन एक विद्यार्थी को आदर्श विद्यार्थी बनाता है।

जो वक्त के साथ नहीं चलता
वह हाथ मलता है
तेज तो चलता हूं
पर वक्त मुझसे भी तेज चलता है

आज के वार्षिक उत्सव के शुभ अवसर पर बेटियों को शिक्षित करने का संकल्प लें।अपनी होनहार बेटियों पर अभिभावकों को गर्व होना चाहिए। हर बेटी को शिक्षा ,स्वावलंबन ,आजादी से जीने का अधिकार मिले।

ईश्वर नें पंख दिये, दी परवाज
हौंसला और इरादे उसके फौलादी है,
मेरी बेटी, मेरा गर्व, मेरी आवाज
हर बात की उसे आजादी है,
सच कहूं, वो बेटी ही नही,
मेरे घर आंगन की शहजादी है

2nd बॉलीवुड डांस

अभी फिर से मनमोहक प्रस्तुतियों का दौर शुरू करते हैं। आज मॉडर्न युग है।और बच्चे बॉलीवुड म्यूजिक को पसंद भी करते हैं और जब भी मौका मिले, खूब ठुमका लगते हैं। एक बार स्कूल के टीचर्स के लिए जोरदार तालियां होनी चाहिए। जिन्होंने इन बच्चों को पूरी मेहनत से तराशा है। जैसा कि आप सभी जानते हैं कि शिक्षा का कार्य सबसे महान हैं। एक शिक्षक से ही सफल समाज का निर्माण होता है। हर इंसान के पास एक शिक्षक होता है जरूरी है कि हम अध्यापक के प्रति समर्पण का भाव रखें।

इन्हीं शब्दों के साथ सेकंड क्लास के बच्चों को बॉलीवुड डांस के लिए मंच पर आमंत्रित करूंगी। आपकी तालियों की गड़गड़ाहट रुकनी नहीं चाहिए।

3rd पेट्रियोटिक सॉन्ग डांस

यूं ही नहीं इस देश में
खुशियों के चमन खिलते हैं
जरा आंख उठा कर देख ऐ विश्व
यहां दीप नहीं दिल जलते हैं

शिक्षा ऐसी होनी चाहिए,जिसमें देश सेवा का भाव हो। इन्हीं दुआओं के साथ अभी आपके समक्ष थर्ड क्लास के बच्चे देशभक्ति गीत पर डांस करेंगे। तालियों के साथ बच्चों का स्वागत करें।

4th बिहु डांस

भारत देश विभिन्नताओं में एकता का प्रतीक माना जाता है। भारतीय लोग भिन्न-भिन्न संस्कृति एवं भिन्न-भिन्न आस्थाओं के साथ जीते हैं। हमारी लोक नृत्य और लोक संगीत हमारी सबसे बड़ी सांस्कृतिक विरासत है। असल में हमारी लोक संस्कृति ही भारत की आत्मा है। असम का पारंपरिक लोक नृत्य बिहू प्रसिद्ध नृत्य है। हिमाचल की इस मंच पर हम बिहू नृत्य की झलक देखेंगे। बिहू लोक नृत्य प्रस्तुति के लिए मंच पर आमंत्रित कर रही हूं फोर्थ क्लास के बच्चों को। तालिया के साथ इन बच्चों की हिम्मत बढ़ाएंगे।

5th girls Women empowerment

मेहंदी रोली कंगन का सिंगार नहीं होता
रक्षाबंधन भैया दूज का त्यौहार नहीं होता
सूने रह जाते घरों के आंगन यूँ ही
अगर घर में बेटी का अवतार नहीं होता

इस बात को कहने में कोई अतिश्योक्ति नहीं है की बेटी के बिना आंगन सूना होता है। हमारी आज की मंच भी बेटियों से ही शोभावान है।अभी आपके सामने वुमन एंपावरमेंट पर छोटी-छोटी बेटियां प्रस्तुति देंगी। आपकी जोरदार तालियां होनी चाहिए।

प्रस्तुति
प्रस्तुति समाप्त

मीरा की वीणा कल्पना की उड़ान है
झांसी की रानी मदर टेरेसा सी दिकपाल है
नारी की कोख से ही जन्मते हैं महान पुरुष
इसलिए नारी तू पुरुष से महान है

एक बार पुनः इन बेटियों के लिए आपकी करतल ध्वनि होनी चाहिए।इसके साथ मैं सभी कहूंगी की नारी के प्रति निष्ठावान बने। बेटियों को पढ़ाकर स्वावलंबी बनाएं। ये समाज की हर बेटी के मन की पुकार है वह भी पढ़ लिख कर सफल बने और आजादी से जिए।

प्रतिभा सम्मान समारोह

शानदार प्रस्तुतियों के दौर के चलते अभी हमारे उत्कृष्ट विद्यार्थियों का मंच पर सम्मान होगा। विद्यालय के होनहार विद्यार्थी शिक्षा के साथ-साथ खेलों व अन्य रचनात्मक गतिविधियों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हैं। (समय अनुसार विद्यार्थियों की विशेष उपलब्धियों के बारे में बताइए) माननीय अतिथियों से अनुरोध करूंगी कि वह कुछ पलों के लिए मंच पर आएं और हमारे स्टूडेंट्स को सम्मानित करें। आपकी जोरदार तालियों के साथ मंच पर आ रहे हैं हमारे विद्यालय के प्रतिभावान बच्चे जैसे जैसे इन विद्यार्थियों एक एक करके नाम अनाउंस हो,आप तालियों से वेलकम कीजिए

प्रतिभाशाली बच्चों का मंच पर सम्मान……..

हर सपने को अपनी सांसो में रखो
हर मंजिल को अपनी बाहों में रखो
हर जीत आपकी ही है
बस अपने लक्ष्य को अपनी निगाहों में रखो

ऐसी प्रतिभाओं से ही देश विकास के पथ पर अग्रसर है। देश की युवा शक्ति ने अपने सामर्थ्य से देश को मजबूत करने का काम किया है। अलौकिक प्रतिभाओं का सम्मान देखकर अन्तःकरण में संकल्प जागता है।चिंतन की विशिष्ट धारा मन में बहने लगती है।किसी की सफलता देख कर इंसान की प्रेरक शक्ति जाग जाती है। इन विद्यार्थियों से प्रेरित होकर विद्यालय के अन्य विद्यार्थी प्रेरणा लेंगे। महान स्वतंत्रता सेनानी सुभाष चंद्र बोस ने कहा है “सफलता हमेशा असफलता के स्तंभ पर खड़ी होती है। इसलिए किसी को भी असफलता से घबराना नहीं चाहिए।” जिस व्यक्ति में कर्मठता,ईमानदारी और कुशलता हो वह एक दिन महान सफलता अर्जित करता है। क्रांतिकारी सुभाष चंद्र बोस ने एक कथन यह भी कहा है “सफलता दूर हो सकती है, लेकिन वह मिलती जरूर है।”

जो खैरात में मिलती कामयाबी
तो हर शख्स कामयाब होता
फिर कदर न होती किसी हुनर की
और न ही कोई शख्स लाजवाब होता।

प्रेरणा से भरे इस दिन को सलाम करें। दुआ करें कि जीवन में ऐसी उपलब्धियां हर किसी को मिले।

5th boys Never give up

पथ में कांटे ना होते तो
जीवन का आभास ना होता
मंजिल मंजिल रह जाती
मानव का इतिहास ना होता

जीवन में विपरीत परिस्थितियां हमेशा आती हैं। सुख और दुख जीवन में साथ चलते हैं। इसलिए हम विषम परिस्थितियों से घबराने की बजाय उससे सीख लेकर आगे बढ़ें।जीवन में हार मानने की बजाय आगे बढ़ते रहें। हमारे स्कूल के फिफ्थ क्लास के बच्चे मोटिवेशनल गीत पर डांस लेकर आ रहे हैं। जोरदार तालिया के साथ इन बच्चों का हौंसला बढा़ईये।

पेश है ये मोटिवेशनल प्रस्तुति
प्रस्तुति समाप्त

ये प्रस्तुति लाजवाब थी। बच्चों ने भिन्न भिन्न पोशाकों के साथ खुबसूरत अभिनय किया। ये हमारे समाज का आने वाला चमकदार भविष्य है। अभिभावक हमेशा इनका सम्मान करें। इनके साथ बैठें ताकि इनके सपनों को पंख लगे।

6TH बॉयज इंग्लिश सॉन्ग

रोम रोम में विश्वास भर देगी
आज इस मंच को खास कर देगी
जोश भरी आपकी तालियां बजती रहे
ये तालियां कलाकारों में साहस भर देगी

आपकी उमंग भरी तालियों के साथ अभी मंच पर 6th क्लास के बॉयज को आमंत्रित करूंगी। हॉलीवुड इंग्लिश सॉन्ग पर डांस लेकर आ रहे हैं 6th क्लास के छात्र

7th & 8th मिक्स हरियाणवी गर्ल्स

जैसा कि मैं पहले बताया था कि भारत में भिन्न-भिन्न संस्कृतियों के लोग रहते हैं। हरियाणा, पंजाब ,जम्मू कश्मीर और उत्तराखंड हमारे पड़ोसी राज्य हैं।पड़ोसी राज्यों का आपसी आदान प्रदान जरूर होता है। हमारे पड़ोसी राज्य हरियाणा की सांस्कृतिक छवि अति उज्जवल है।

हर की भूमि हरियाणा तनै
बार-बार हम शीश नवावां
ज्ञान ज्ञान की इस धरती पर
आठों पहर सदा गुण गावां

इन्हीं पंक्तियों के साथ मंच पर आमंत्रित करूंगी 7th क्लास की छात्राओं की। 7th क्लास की छात्राएं हरियाणवी‌ सांस्कृतिक गीत पर डांस करेंगी।

7th & 8th Boys पृथ्वी राज चौहान

हमारे देश में अनेक ऐसे शूरवीर हुए, जिन्होंने अन्याय के विरुद्ध लड़ते हुए अपने प्राणों की आहुति दी। जिनके शौर्य को आज भी याद किया जाता है। ऐसे ही एक शूरवीर हुए पृथ्वीराज चौहान। जिनकी वीरता को आज भी याद किया जाता है।

उसूलों पर आंच आए तो
टकराना जरूरी है
जिंदा हो अगर तो
जिंदा नजर आना जरूरी है

इसी प्रेरणा में 8th क्लास के छात्र डांस पेश करेंगे। तालियां बजाकर स्वागत कीजिए

9th नाटी शिमला

शिमला का नाटी नृत्य हमारे प्रांत की सबसे बड़ी सांस्कृतिक धरोहर है। हमें अपने क्षेत्र की भाषा, रहन-सहन, खान-पान, पहनावा, गीत संगीत हमेशा याद रखने चाहिए। संस्कृति से ही हमारी पहचान है। बेशक हम बॉलीवुड, हॉलीवुड फिल्मी गीत संगीत सुनें या आधुनिक पहनावा अपनाएं, मगर अपने सांस्कृतिक धरोहर को हमेशा अपने हृदय में रखना चाहिए।

अपनी पीढ़ी को जैसे संस्कार दे जाएंगे
आने वाले कल के खातिर वो ही नींव बनाएंगे

संस्कारों से ही संस्कृति होती है। इसलिए अभिभावक अपने बच्चों को हमेशा संस्कारित करते रहें। अभी आपके सामने पेश है शिमला का नाटी नृत्य।

10th बॉय प्ले ड्रग एडिक्शन

वार्षिकोत्सव पर आए हुए अभिभावकों एवं आदरणीय तिथियां से एक बात जरूर करना चाहूंगी कि आज शिक्षा की क्रांति और विकास के युग में कुछ चिंताजनक स्थिति भी पैदा हो रही है। सबसे बड़ी चिंता है आज नई उम्र का जानलेवा नशों की ओर उन्मुख होना।

एक बोतल शराब के लिये
कतार मे जिंदगी लेकर खड़ा हो गया
मौत का गम तो वहम था
आज नशा जिंदगी से बड़ा हो गया

आज हमें जरूरी है कि हम बच्चों के पास बैठें। उनके साथ समय-समय पर चर्चा करें। उनकी संगत के बारे में परिवारजनों को पता होना चाहिए। इन बच्चों की ऊर्जा को सही दिशा में लगाकर इन्हें नशे जैसी बुराई से बचाया जा सकता है। हमारे स्कूल के स्टूडेंट्स ने नशा उन्मूलन के लिए एक प्ले तैयार किया है। आशा है आपको पसंद आएगा। बच्चों के इस प्ले को देखकर हम प्रेरणा लेंगे कि जीवन में कभी नशे नहीं करेंगे। आपकी जोरदार तालिया के साथ पेश है प्ले।


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